NASA की अद्भुत तैयारी! सूर्य ग्रहण 2024 के हर नजारे को कैद करेंगे बादलों में 15000 फीट पर घूम रहे जेट प्लेन
Solar Eclipse 2024 in jet planes NASA: आखिरकार वो दिन आ गया है जिसका सबको कई महीनों से इंतजार था। जी हां, आज (8 अप्रैल 2024) साल का पहला सूर्य ग्रहण है। सबसे खास बात है कि आज पड़ने वाला सूर्य ग्रहण इसलिए खास है क्योंकि पृथ्वी के कुछ हिस्सों पर पर थोड़ी देर के लिए पूरी तरह अंधेरा छा जाएगा। जानकारी के मुताबिक, आज लगने वाला ग्रहण पिछले 54 सालों में सबसे खास है। आज होने वाले 'once-in-a-lifetime' इवेंट की बात करें तो पूर्ण सूर्य ग्रहण का अद्भुत नजारा करीब 4 मिनट तक आसमान में दिखेगा। लेकिन अगर आज आसमान में बादल छाए रहते हैं तो लोग इसे नहीं देख पाएंगे। और यही वजह है कि कुछ लोग जेट प्लेन (Jet Planes) के जरिए इस ग्रहण का पीछा करेंगे। जी हां, नासा ने खासतौर पर ग्रहण के इस नजारे को कैमरे में कैद करने के लिए जेट प्लेन लगाए हैं।
बता दें कि कई बार ऐसा होता है कि ग्रहण के समय आसमान में बादल छाए रहते हैं। और अगर ऐसा हुआ तो जमीन पर लोग या स्पेस एंजेंसी इस नजारे को कैमरे में कैद नहीं कर पाएंगे। दुनियाभर में कई सारे ऑर्गनाइजेशन पूर्ण सूर्य ग्रहण के इस नजारे के अध्ययन और रिसर्च के लिए सालों से तैयारियां करती हैं। किसी भी तरह की मुश्किल में सूर्य ग्रहण (Solar Eclipse 2024) का यह नजारा कैद होने से ना रह जाए, इसके लिए NASA ने इस बार एक नया हल निकाला है। और यह तरीका वाकई बेहद खास है। सूर्य ग्रहण के नजारे को देखने के लिए बादलों के बीच जेट प्लेन घूमेंगे।
नासा की फंडिंग वाली तीन टीमें स्पेस एजेंसी के WB-57 जेट प्लेन में अपने वैज्ञानिक उपकरण अंतरिक्ष में भेजेंगी। इनमें से दो टीमें कोरोना का डेटा कैप्चर करेंगी जबकि तीसरी टीम हमारे ग्रहण के वायुमंडल के ऊपर इलेक्ट्रिकली चार्ज अपर लेयर आयनमंडल को मापेगी।
पृथ्वी की सतह से 15000 मीटर ऊपर ये जेट प्लेन बादलों के ऊपर घूमेंगे। ना केवल ये प्लेन बादलों के ऊपर होंगे बल्कि ये वायुमंडल के भी अधिकतर हिस्सों से ऊपर रहेंगे ताकि कैमरों से बेहतर क्वॉलिटी की तस्वीरें ली जा सकेंगे प्रकाश की अधिक तरंग द्धैर्य को पकड़ने सकें जो आमतौर पर जमीन तक नहीं पहुंच पाती हैं।
WB-57 जेट प्लेन 750 किलोमीटर प्रति घंटे की स्पीड पर सूर्य ग्रहण के नजारे को कैद करेगा और निश्चित तौर पर ज्यादा वक्त तक ग्रहण को देख सकेगा। पृथ्वी पर जहां कोई भी साढ़े चार मिनट से ज्यादा इस नजारे को नहीं देख सकेगा, वहीं प्लेन में यह पूर्ण ग्रहण 6 मिनट 22 सेकेंड्स तक दिखेगा। बता दें कि साल 2017 में भी एजेंसी ग्रहण की स्टडी के सिए जेट प्लेन का इस्तेमाल किया था।