यूपी से इन चेहरों का मोदी 3.O में मंत्री बनना लगभग तय, इस तरह से साधा जाएगा जातीय समीकरण
देश में लगातार तीसरी बार एनडीए की सरकार बनने जा रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 9 जून को प्रधानमंत्री पद की शपथ लेंगे। इसके साथ ही सांसदों को भी मंत्री पद की शपथ दिलाई जाएगी। पिछले दो लोकसभा चुनाव से उत्तर प्रदेश में बीजेपी को प्रचंड जीत मिल रही थी लेकिन 2024 के लोकसभा चुनाव में यूपी से बीजेपी को बड़ा झटका लगा।
बीजेपी को लगा करारा झटका
उत्तर प्रदेश में एनडीए गठबंधन को महज 36 सीटों पर जीत हासिल हुई, जबकि 43 सीटों पर इंडिया गठबंधन को जीत मिली। यूपी में बीजेपी को 33 और उसकी सहयोगी आरएलडी को 2 और अपना दल (सोनेलाल) को एक सीट पर जीत हासिल हुई है। अब बड़ा सवाल उठ रहा कि उत्तर प्रदेश से कौन मंत्री बनेगा? जाहिर है प्रधानमंत्री मोदी जब यूपी के नेताओं को मंत्री बनाने पर विचार करेंगे तो जातीय समीकरण का पूरा ख्याल रखा जाएगा। इसमें ओबीसी और दलित समुदाय का खास ख्याल रखा जाएगा।
गठबंधन से दो मंत्री पद
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उत्तर प्रदेश से अपने गठबंधन साथी के दो सांसदों को मंत्री बना सकते हैं। आरएलडी के दो सांसद चुनकर आए हैं जबकि आरएलडी मुखिया जयंत चौधरी राज्यसभा सांसद हैं। माना जा रहा है कि जयंत खुद अपना नाम अपने दल की ओर से मंत्री पद के लिए सुझा सकते हैं और मोदी सरकार में मंत्री बन सकते हैं। जयंत चौधरी को कैबिनेट मंत्री पद दिया जा सकता है और पश्चिमी यूपी में जाटों को साधा जा सकता है।
वहीं अपना दल (सोनेलाल) की ओर से अनुप्रिया पटेल एक बार फिर से मंत्रिमंडल में शामिल हो सकती हैं। इसके पहले भी वह मोदी सरकार में राज्य मंत्री रही हैं और अबकी बार वह अपने दल की ओर से जीत करने वाली इकलौती सांसद हैं। ऐसे में मोदी सरकार में उन्हें राज्यमंत्री बनाया जा सकता है। अनुप्रिया पटेल कुर्मी समुदाय से आती हैं और पूर्वी और सेंट्रल यूपी में इस समुदाय अच्छी खासी संख्या है।
बीजेपी रखेगी ओबीसी का ध्यान
उत्तर प्रदेश से बीजेपी और एनडीए के सांसदों की संख्या कम हुई है तो जाहिर तौर पर मंत्रियों की संख्या भी कम होगी। हालांकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उत्तर प्रदेश में ओबीसी कार्ड का जरूर ध्यान रखेंगे। बीजेपी की ओर से महाराजगंज से पंकज चौधरी, बरेली से छत्रपाल गंगवार, फर्रुखाबाद से मुकेश राजपूत, बांसगांव से कमलेश पासवान समेत कई ओबीसी नेता चुनाव जीते हैं। माना जा रहा है कि प्रधानमंत्री मोदी बीजेपी की ओर से यूपी से आने वाले दो नेताओं को मंत्री बना सकते हैं। इनमें पंकज चौधरी की दावेदारी मजबूत मानी जा रही है। पंकज चौधरी महाराजगंज से सांसद चुने गए हैं और कुर्मी समुदाय से आते हैं, जिनकी संख्या पूर्वी उत्तर प्रदेश में काफी अधिक है। वहीं दूसरा नाम छत्रपाल गंगवार का सामने आ रहा है, जो मोदी सरकार में मंत्री बन सकते हैं। वह बरेली से सांसद चुने गए हैं।
दलित समुदाय से कौन बन सकता मंत्री?
बीजेपी को यूपी में करारा झटका लगा है और माना जा रहा है कि दलित वोटरों ने इस बार बीजेपी को नहीं बल्कि सपा-कांग्रेस गठबंधन का साथ दिया। ऐसे में यूपी से दो दलित समाज के नेताओं को मंत्री बनाया जा सकता है। आगरा से सांसद एसपी सिंह बघेल और हाथरस से सांसद अनूप वाल्मीकि का नाम मंत्री पद के लिए चल रहा है। एसपी सिंह बघेल मोदी सरकार में मंत्री रह चुके हैं तो वहीं हाथरस से सांसद अनूप वाल्मीकि योगी सरकार में मंत्री हैं।
ब्राह्मण चेहरे के तौर पर लक्ष्मीकांत वाजपेयी का नाम सबसे आगे
यूपी से इस बार अधिक ब्राह्मण चेहरे चुनाव नहीं जीत पाए हैं। केंद्रीय मंत्री रहे महेंद्रनाथ पांडे भी चंदौली से चुनाव हार गए। तो वहीं बस्ती से सांसद हरीश द्विवेदी भी अपनी सीट नहीं बचा पाए। केंद्रीय गृह राज्य मंत्री रहे अजय मिश्रा टेनी भी चुनाव नहीं जीत पाए। ऐसे में कोई नया ब्राह्मण चेहरा मंत्रिमंडल में शामिल हो सकता है। इसमें लक्ष्मीकांत वाजपेयी और जितिन प्रसाद का नाम तेजी से आगे बढ़ रहा है। जितिन प्रसाद पहले भी कांग्रेस सरकार में केंद्रीय मंत्री रह चुके हैं। वह अभी उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री हैं। लेकिन अब वह पीलीभीत से सांसद चुने गए हैं।
वहीं लक्ष्मीकांत वाजपेयी राज्यसभा सांसद हैं और राज्यसभा में बीजेपी के चीफ व्हिप हैं। वह यूपी बीजेपी के अध्यक्ष भी रह चुके हैं। 2014 में जब बीजेपी को उत्तर प्रदेश में प्रचंड जीत हासिल हुई थी, तब लक्ष्मीकांत वाजपेयी ही प्रदेश अध्यक्ष थे। लक्ष्मीकांत वाजपेयी उत्तर प्रदेश के बड़े ब्राह्मण नेता माने जाते हैं और मेरठ से आते हैं।
राजनाथ सिंह का मंत्री बनना कन्फर्म
राजनाथ सिंह एक बार फिर से मोदी सरकार में मंत्रालय संभालेंगे, यह लगभग कंफर्म है। इस बार प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व वाली बीजेपी को पूर्ण बहुमत नहीं मिला है, ऐसे में राजनाथ सिंह की जिम्मेदारी बढ़ेगी और सहयोगियों से वही बातचीत करेंगे। राजनाथ सिंह लखनऊ से सांसद चुने गए हैं। वह 2014 से 2019 तक गृहमंत्री और 2019 से 2024 तक रक्षा मंत्री रह चुके हैं। आने वाले सरकार में उन्हें कौन सा मंत्रालय मिलेगा, यह तो बाद में पता चलेगा लेकिन उनका मंत्री बनना कंफर्म है।