scorecardresearch
For the best experience, open
https://m.jansatta.com
on your mobile browser.

हाथरस सत्संग में कैसी गई इतने लोगों की जान? पोस्टमार्टम रिपोर्ट में सामने आई ये बड़ी वजह

Hathras Satsang Stampede: राम मोहन तिवारी ने बताया कि मरने वालों में सबसे ज्यादा 40 से 50 साल की महिलाएं थी।
Written by: न्यूज डेस्क
नई दिल्ली | Updated: July 03, 2024 20:57 IST
हाथरस सत्संग में कैसी गई इतने लोगों की जान  पोस्टमार्टम रिपोर्ट में सामने आई ये बड़ी वजह
हाथरस सत्संग में भगदड़। (इमेज-पीटीआई)
Advertisement

Hathras Satsang Stampede: हाथरस और आसपास के जिलों के हॉस्पिटल के पोस्टमार्टम हाउस का मंजर मंगलवार शाम को जिसने भी देखा वह सिहर उठा। भोले बाबा उर्फ नारायण साकार हरि के सत्संग में अचानक मची भगदड़ में जान गंवाने वाले लोगों की संख्या बढ़कर 121 तक पहुंच गई है। इनमें से ज्यादातर महिलाएं शामिल हैं। अब सभी के मन में एक ही सवाल आ रहा है कि आखिर भगदड़ में इतने ज्यादा लोगों की जान कैसे चली गई। एटा में भेजे गए शवों की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में इन मौतों की वजह पता चली है।

Advertisement

हाथरस के फुलरई गांव में मंगलवार को हुई भगदड़ के बाद एटा के जिला हॉस्पिटल के शवगृह में 27 शव लाए गए थे। वहीं, कुछ शवों को अलीगढ़ समेत आसपास के इलाकों के अलग-अलग हॉस्पिटल में भेजा गया। आगरा के एसएन मेडिकल कॉलेज में भी 21 शव पहुंचे थे। एटा के एडिशनल चीफ मेडिकल ऑफिसर डॉक्टर राम मोहन तिवारी ने बताया कि यहां पर लाए गए शवों का पोस्टमार्टम हुआ। इनमें से कुछ शवों की शिनाख्त हो गई है और कुछ की बाकी है। तिवारी ने कहा कि लगभग सभी मामलों में मौतों की वजह दम घुटना ही पाया गया। इसके अलावा आगरा में लाए गए शवों में भी यही कॉमन वजह पाई गई है। तीन लोगों की मौत हेड इंजरी की वजह से हुई है।

Advertisement

40-50 साल की महिलाएं ज्यादा

राम मोहन तिवारी ने बताया कि मरने वालों में सबसे ज्यादा 40 से 50 साल की महिलाएं थी। उन्होंने आगे कहा कि जिले में औसतन रोजाना चार से पांच शवों के पोस्टमार्टम किए जाते हैं। लेकिन मंगलवार को संख्या काफी ज्यादा थी। इसकी वजह से अस्पताल के कर्मचारियों और अधिकारियों को ज्यादा टाइम तक काम करना पड़ा। अस्पताल में भर्ती लोगों के बारे में तिवारी ने कहा कि यहां पर चार मरीज लाए गए थे। इनमें से एक को प्राथमिक उपचार के बाद ही छुट्टी दे दी गई। एक प्रेग्नेंट महिला का इलाज अभी भी जारी है और उसकी हालत स्थिर है।

हाईकोर्ट के रिटायर जज करेंगे जांच

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाथरस हादसे के घायलों से मिलने के बाद कहा कि इस तरह की घटना केवल एक हादसा नहीं है। अगर हादसा है तो उसके पीछे कौन जिम्मेदार है। अगर यह हादसा नहीं है तो साजिश किसकी है। इसकी न्यायिक जांच होगी। जांच के लिए हाईकोर्ट के रिटायर्ड जज की अध्यक्षता में जांच कराएंगे। हादसे का जो भी दोषी पाया जाएगा उसको सख्त से सख्त सजा दी जाएगी। मुख्यमंत्री योगी ने आगे कहा कि कार्यक्रम में जो सज्जन वहां उपदेश देने आए थे। उनकी कथा होने के बाद वह जाने लगे तो काफिला जब उन्हें छूने आया तो महिलाओं में भगदड़ मच गई। घायलों को जब अस्पताल ले जानी की बात हुई तो सेवादार भाग खड़े हुए।

Advertisement

Advertisement
Advertisement
Tags :
Advertisement
Jansatta.com पर पढ़े ताज़ा एजुकेशन समाचार (Education News), लेटेस्ट हिंदी समाचार (Hindi News), बॉलीवुड, खेल, क्रिकेट, राजनीति, धर्म और शिक्षा से जुड़ी हर ख़बर। समय पर अपडेट और हिंदी ब्रेकिंग न्यूज़ के लिए जनसत्ता की हिंदी समाचार ऐप डाउनलोड करके अपने समाचार अनुभव को बेहतर बनाएं ।
×
tlbr_img1 Shorts tlbr_img2 खेल tlbr_img3 LIVE TV tlbr_img4 फ़ोटो tlbr_img5 वीडियो