Narendra Modi Government: बिहार, केरल और पंजाब में क्षेत्रीय संतुलन बनाने की कवायद, पराजित उम्मीदवार को भी बनाया मंत्री
मोदी मंत्रिमंडल में बिहार, केरल और पंजाब में क्षेत्रीय संतुलन को साधने की कवायद की गई है। पंजाब अपना सिख चेहरा बनाने के लिए लोकसभा चुनाव हार जाने वाले रवनीत सिंह बिट्टू को भी केंद्रीय मंत्रिमंडल में जगह दी है। 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले सीधे कांग्रेस से बीजेपी में आने वाले बिट्टू को बीजेपी व सहयोगी दलों की तरफ से चुनाव मैदान में उतारा था। लेकिन इस चुनाव में बिट्टू अपनी जीत दर्ज करा नहीं पाए हैं। यही वजह है कि बीजेपी ने उन्हें बतौर सिख चेहरा बनाने के लिए मंत्री पद देने का फैसला लिया है। इसके अतिरिक्त कई और भी नए चेहरे इस बार सीधे मोदी मंत्रिमंडल में जगह पाने में सफल रहे। बिट्टू को बीजेपी ने लुधियाना सीट से चुनाव मैदान में उतारा था।
बिट्टू के प्रचार में खुद अमित शाह चुनाव मैदान में उतरे थे
बीजेपी से टिकट मिलने के बाद बिट्टू के प्रचार में खुद अमित शाह चुनाव मैदान में उतरे थे। बिट्टू तीन बार कांग्रेस पार्टी से सांसद रह चुके हैं। इस सीट पर कांग्रेस पार्टी के नेता अमरिंदर सिंह राजा ने जीत दर्ज कराई है और बीजेपी को करीब बीस हजार वोट से नुकसान उठाना पड़ा है। रवनीत सिंह बिट्टू इससे पूर्व 2009 में आनंदपुर और इसके बाद 2014 और 2019 में लुधियाना से कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ चुके हैं। वे पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री बेअंत सिंह के बेटे है। शपथ ग्रहण समारोह से पहले आयोजित चाय कार्यक्रम में आमंत्रित किया गया था।
केरल में कमल खिलाने वाले सुरेश गोपी मंत्रिमंडल में
भारतीय जनता पार्टी ने इस बार सबसे ज्यादा जोर दक्षिण राज्य की सीटों पर लगाया था। खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से लेकर अमित शाह समेत अन्य नेता इन राज्यों में पहुंचे थे। पार्टी की इसी कड़ी मेहनत का असर है कि पहली बार दक्षिण भारत के राज्य में कमल को एक सीट मिली है। केरल अब तक कांग्रेस का गढ़ माना जाता रहा है।
यहां से त्रिशूर लोकसभा सीट से सुरेश गोपी सांसद बने हैं और उन्हें भी मंत्रिमंडल में जगह दी गई है। इनकी जीत को केरल राज्य में भाजपा की एक बड़ी जीत माना जा रहा है और इसका इनाम भाजपा ने सुरेश गोपी को दिया है। वे रविवार को अपने परिवार के सदस्यों के साथ शपथग्रहण के लिए दिल्ली पहुंचे थे।
चिराग पासवास बने केंद्रीय मंत्री
बिहार राज्य से केंद्रीय मंत्रीमंडल में हाजीपुर से सांसद चिराग पासवान को लिया गया है। चिराग पासवास बतौर केंद्रीय मंत्री के दर्जे में इस बार संसद में नजर आएंगे। वे लोक जनशक्ति पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं और अपने पति स्व राम विलास पासवान की विरासत को आगे बढ़ा रहे हें। चिराग ने कम्प्यूटर इंजीनियर पढाई की है। इन्होंने वर्ष 2021 में अपने चाचा व सांसद पशुपति पारस गुट से अलग होकर अपनी पार्टी बनाई थी और वर्ष 2024 में करीब सत्तर हजार से अधिक वोट से अपनी जीत दर्ज कराई है। चिराग पासवान राजनीति में आने से पहले बालीवुड में भी भाग्य अजमा चुके हैं और इन्होंने कंगना रनौत के साथ भी काम किया है। इसी बार कंगना भी लोकसभा चुनाव जीतकर संसद पहुंची हैं।