चुनाव के दौरान असलहा धारकों को मिली बड़ी राहत, इलाहाबाद हाई कोर्ट ने दिया ये आदेश
लोकसभा चुनावों के बीच इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाया है। असलहे को लेकर हाईकोर्ट ने फैसला सुनाया है। कोर्ट ने कहा कि चुनाव में असलहा जमा नहीं कराया जा सकता है। कोर्ट के इस फैसले से असलहा धारकों को बड़ी राहत मिली है। कोर्ट ने कहा कि सामान्य आदेश से असलहे जमा नहीं करा सकते हैं।
आमतौर पर जब राज्यों में चुनाव होते हैं तो प्रशासन असलहा धारकों से उनके हथियार जमा करवा लेता है। हाई कोर्ट ने सुनवाई के दौरान पुराने फैसलों का भी जिक्र किया। कोर्ट ने कहा कि चुनाव में सुरक्षा के उपायों को आधार बनाते हुए लोगों से असलहा जमा कराने के लिए नहीं कह सकते हैं। कोर्ट की ओर से जारी आदेश में कहा गया कि यदि किसी असलहा धारक से कानून व्यवस्था को खतरा लगे, तो उसके लाइसेंस को जमा करा सकते हैं।
देशभर में लग चुकी है आचार संहिता
चुनावों की तारीखों का ऐलान होते ही आचार संहिता लागू हो जाती है। इस नियम के लागू होने के बाद नेता से लेकर आम जनता तक सभी तरह की पाबंदियां लग जाती हैं और इसका उल्लंघन करने वालों पर कार्रवाई भी की जाती है। अभी आचार संहिता लागू है। आचार संहिता क्या है? देश में स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने के लिए आयोग कुछ नियम लागू करता है। आचार संहिता वोट देने जाने तक लागू रहती है।
आचार संहिता के दौरान सरकती आवास में प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री, मंत्री और राजनीतिक हस्तियों की फोटो लगाने पर पूरी तरह से मनाही होती है। इस दौरान कोई भी व्यक्ति नेता सरकार की उपलब्धियों वाले विज्ञापन प्रिंट, इलेक्ट्रॉनिक और दूसरे मीडिया में नहीं दे सकता। साथ ही सोशल मीडिया पर पोस्ट करते समय सावधानी बरतने की जरूरत होती है।
आचार संहिता के दौरान कोई भी ऐसा फोटो वीडियो शेयर नहीं कर सकते जिसमें सरकार की उपलब्धियां गिनाई जा रही हों। चुनाव के दौरान अधिक कैश लेकर जा रहे हैं तो आपसे पूछताछ की जा सकती है और धोखाधड़ी के संबंध में आपको सबूत देने होंगे। आम लोगों और व्यापारियों को कैश ले जाने के कुछ रिकॉर्ड के साथ जरूर रखना चाहिए।