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UP Mainpuri Lok Sabha Election 2024: यहां एक बार भी नहीं जीती बीजेपी, 26 साल से नहीं हारी सपा

Mainpuri SP candidate Dimple Yadav: क्या सपा इस बार मैनपुरी सीट पर 2022 के उपचुनाव के प्रदर्शन को दोहरा पाएगी?
Written by: Pawan Upreti
नई दिल्ली | Updated: April 29, 2024 15:44 IST
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डिंपल यादव और जयवीर सिंह।
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लोकसभा चुनाव के तीसरे चरण में उत्तर प्रदेश की मैनपुरी ऐसी सीट है, जहां के चुनावी मुकाबले पर तमाम राजनीतिक विश्लेषकों की नजर है। क्योंकि सपा मुखिया अखिलेश यादव की पत्नी डिंपल यादव यहां से चुनाव लड़ रही हैं। अब तक मैनपुरी सीट पर बीजेपी को जीत नहीं मिली है। 1996 से यह सीट सपा के कब्जे में रही है। लेक‍िन, इस बार बीजेपी ने पुराने सपाई को मैदान में उतार कर नया दांव चला है।

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मैनपुरी सीट को लेकर एक दिलचस्प तथ्य यह भी है कि यह सीट 2004 से अब तक सपा संस्थापक मुलायम सिंह यादव के परिवार के पास ही है।

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1952 से 1984 तक हुए आठ लोकसभा चुनाव में से कांग्रेस को यहां चार बार जीत मिली थी लेकिन 1984 के बाद से अब तक कांग्रेस यहां से नहीं जीती। आइए, नजर डालते हैं कि 1952 में हुए पहले लोकसभा चुनाव से 2022 के लोकसभा उपचुनाव तक किस राजनीतिक दल के किस उम्मीदवार ने यहां से जीत हासिल की है।

सालजीते उम्मीदवार का नामकिस राजनीतिक दल को मिली जीत
1952बादशाह गुप्ताकांग्रेस
1957बंशी दास धनगरप्रजा सोशलिस्ट पार्टी
1962बादशाह गुप्ताकांग्रेस
1967महाराज सिंहकांग्रेस
1971महाराज सिंहकांग्रेस
1977रघुनाथ सिंह वर्माजनता पार्टी
1980रघुनाथ सिंह वर्माजनता पार्टी (सेक्युलर )
1984बलराम सिंह यादवकांग्रेस
1989उदय प्रताप सिंहजनता दल
1991उदय प्रताप सिंहजनता पार्टी
1996मुलायम सिंह यादवसपा
1998बलराम सिंह यादवसपा
1999बलराम सिंह यादवसपा
2004मुलायम सिंह यादवसपा
2004 (उपचुनाव)धर्मेंद्र यादवसपा
2009मुलायम सिंह यादवसपा
2014मुलायम सिंह यादवसपा
2014 (उपचुनाव)तेज प्रताप सिंह यादवसपा
2019मुलायम सिंह यादवसपा
2022 (उपचुनाव)डिंपल यादवसपा

Dimple Yadav Mainpuri: सपा का गढ़ है मैनपुरी

2022 में सपा के संस्थापक मुलायम सिंह यादव के निधन के बाद जब इस सीट पर उपचुनाव हुआ था तो सपा मुखिया अखिलेश यादव ने अपनी पत्नी डिंपल यादव को यहां से चुनाव मैदान में उतारा था। तब सपा के पक्ष में सहानुभूति की जबरदस्त लहर देखने को मिली थी और डिंपल यादव को 2.88 लाख वोटों से जीत मिली थी।

जबकि 2019 के लोकसभा चुनाव में जब सपा बसपा और रालोद के संयुक्त गठबंधन प्रत्याशी के तौर पर मुलायम सिंह यादव ने चुनाव लड़ा था तब वह 94 हजार वोटों से जीते थे।

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मैनपुरी लोकसभा सीट में पांच विधानसभा सीटें आती हैं। ये सीटें- भोंगांव, मैनपुरी, किशनी (एससी), करहल और जसवंत नगर हैं। 2022 के विधानसभा चुनाव में इनमें से 2 सीटों पर बीजेपी को जीत मिली थी।

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Akhilesh Yadav
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव। (Source- PTI)

Mainpuri Yadav Population: यादव मतदाता सबसे ज्यादा

जातीय समीकरणों की बात करें तो राजनीतिक खबरों के मुताबिक, मैनपुरी लोकसभा सीट पर सबसे ज्यादा चार लाख यादव मतदाता हैं। इसके बाद शाक्य मतदाताओं की संख्या ढाई लाख के आसपास है। क्षत्रिय मतदाता दो लाख जबकि ब्राह्मण, पाल, बघेल, कश्यप और अनुसूचित जाति के मतदाताओं की सख्या एक-एक लाख है। यहां करीब सवा लाख लोधी मतदाता और 70 हजार मुस्लिम मतदाता हैं।

Mainpuri Jaiveer Singh BJP: जयवीर सिंह को बीजेपी ने दिया टिकट

2022 के उपचुनाव में खराब प्रदर्शन के बाद भाजपा ने यहां से योगी सरकार में कैबिनेट मंत्री ठाकुर जयवीर सिंह को टिकट दिया है। जयवीर सिंह 2017 में बीजेपी में शामिल हुए थे। उससे पहले वह कांग्रेस और सपा में थे।

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लोकसभा चुनाव: इस बार किसके होंगे यादव वोटर्स? (Source- Jansatta)

कौन हैं जयवीर सिंह?

2022 के विधानसभा चुनाव में जयवीर सिंह ने मैनपुरी सदर सीट से सपा उम्मीदवार राजकुमार उर्फ राजू यादव को हराया था। राजू यादव इस सीट से लगातार दो बार सपा के टिकट पर विधायक रहे थे। इस जीत के बाद से ही मुलायम सिंह के प्रभुत्व वाले इस इलाके में जयवीर सिंह का सियासी कद बढ़ गया था। जयवीर सिंह 2002 और 2007 में मैनपुरी की घिरोर सीट से चुनाव जीत चुके हैं। वह 2002 और 2007 में राज्य मंत्री रह चुके हैं। लेकिन 2022 में मिली जीत के बाद उन्हें कैबिनेट मंत्री बनाया गया।

जयवीर सिंह की पत्नी रीता सिंह जिला सहकारी बैंक की अध्यक्ष हैं। उनके दो बेटे हैं। बड़े बेटे अतुल सिंह फिरोजाबाद जिला सहकारी बैंक के अध्यक्ष हैं जबकि उनकी पत्नी अमृता सिंह ब्लाक प्रमुख हैं। दूसरे बेटे सुमित प्रताप सिंह की पत्नी हर्षिता सिंह फिरोजाबाद की जिला पंचायत अध्यक्ष हैं।

BJP Arun Govil, Ramayan Arun Govil
मेरठ के भाजपा प्रत्याशी अरुण गोविल (PC- X/@arungovil12)

2021 में हुए जिला पंचायत अध्यक्ष पद के चुनाव में हर्षिता सिंह ने सपा की उम्मीदवार रुचि यादव को हराया था। इस जीत को बीजेपी के लिए बड़ी जीत माना गया था। यह साफ पता चलता है कि जयवीर सिंह इस इलाके में ताकतवर शख्सियत हैं और उनके राजनीतिक असर को देखते हुए ही बीजेपी ने उन्हें टिकट दिया है। मैनपुरी सीट को सपा से छीनने के लिए बीजेपी ने पूरी ताकत झोंक दी है।

Mayawati
उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती।

BSP Shiv Prasad Yadav: बसपा ने भी दिया यादव नेता को टिकट

यादव मतदाताओं की अधिक आबादी को देखते हुए ही बसपा ने भी इसी समुदाय के शिव प्रसाद यादव को उम्मीदवार बनाया है। बसपा ने पहले यहां से गुलशन सिंह शाक्य को टिकट दिया था लेकिन बाद में शिव प्रसाद यादव को उम्मीदवार बना दिया। इससे नाराज होकर गुलशन सिंह शाक्य सपा में चले गए।

शिव प्रसाद यादव पहले बीजेपी में थे लेकिन साल 2023 में उन्होंने सर्वजन सुखाय पार्टी नाम से अपना राजनीतिक दल बना लिया था। वह यादवों के घोसी समुदाय से आते हैं जबकि डिंपल यादव कमरिया समुदाय से आती हैं।

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