एनटीए चेयरमैन डॉ. प्रदीप जोशी एबीवीपी पदाधिकारी रहे हैं, खुफिया रिपोर्ट में बताया गया अटल बिहारी, मुरली मनोहर जोशी से भी संबंध
NEET-UG परीक्षा नतीजों में कथित धांधली के आरोपों के चलते Natioanal Testing Agency (NTA) इन दिनों खूब चर्चा में है। एनटीए चेयरमैन भी सुर्खियों में हैं। वो इसलिए कि NEET-UG परीक्षा के नतीजों में कथित धांधली और इस पर उठे विवाद के बीच मामले की जांच के लिए जो कमेटी बनी उसका प्रमुख एनटीए अध्यक्ष को ही बनाया गया। वही एनटीए अध्यक्ष जिन पर यह परीक्षा सही तरीके से कराने की जवाबदेही थी।
एनटीए के प्रमुख हैं रिटायर्ड प्रोफेसर डॉ. प्रदीप जोशी। जोशी का संघ परिवार से पुराना नाता बताया जाता है और उन पर इस नाते का फायदा उठा कर बड़ा पद पाने का आरोप भी लग चुका है।
डॉ. जोशी संघ लोक सेवा आयोग (UPSC), मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग (MPPSC) और छत्तीसगढ़ PSC के अध्यक्ष भी रह चुके हैं। छत्तीसगढ़ से पहले वह एमपीपीएससी अध्यक्ष थे। बताया जाता है वहां उनकी नियुक्ति RSS के एक पदाधिकारी की सिफारिश पर हुई थी।
जोशी 2006 में MPPSC अध्यक्ष बने थे
जोशी 2006 में MPPSC अध्यक्ष बने थे। इसके करीब आठ साल बाद आरटीआई के जरिए प्राप्त जानकारी के हवाले से दावा किया गया कि उनकी इस नियुक्ति के लिए आरएसएस के तत्कालीन क्षेत्रीय प्रचारक विनोदजी ने सिफारिश की थी।
आरटीआई कार्यकर्ता अजय दुबे को उनके आवेदन के जवाब में यह जानकारी दी गई थी। डॉ. जोशी के लिए की गई सिफारिश में विनोदजी ने लिखा था,
डॉ. प्रदीप जोशी अध्यक्ष रहे हैं विद्यार्थी परिषद के। वर्तमान में जबलपुर के रानी दुर्गा विश्वविद्यालय से जुड़े हैं। चाहते हैं संघ लोक सेवा अध्यक्ष बनें। नाम गया है।"
इस नोट की एक प्रमाणित प्रति अजय दुबे को सौंपी गई थी।
दुबे को तत्कालीन आईजी (कानून और व्यवस्था) ए के सोनी द्वारा हस्ताक्षरित गोपनीय रिपोर्ट की एक प्रति भी दी गई थी। इसके मुताबिक, 8 जून, 2006 की रिपोर्ट में कहा गया था कि जोशी भाजपा नेताओं मुरली मनोहर जोशी और अटल बिहारी वाजपेयी से जुड़े रहे हैं।
![NTA Chairman Pradeep Josshi | RSS Note](https://www.jansatta.com/wp-content/uploads/2024/06/NTA-chariman-Doc.jpg?w=850)
बाद में जोशी छत्तीसगढ़ लोकसेवा आयोग के अध्यक्ष बने
डॉ. जोशी पांच साल तक एमपीपीएससी में अध्यक्ष रहने के बाद छत्तीसगढ़ लोकसेवा आयोग के अध्यक्ष बन गए थे। तब उनकी नियुक्ति को अजय दुबे ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। यह कहते हुए कि जोशी को संभावित उम्मीदवारों का पैनल बनाने या किसी भी प्रक्रिया का पालन किए बिना नियुक्त किया गया था, और उनकी नियुक्ति RSS और भाजपा से उनके संबंधों के कारण हुई थी।
अजय दुबे ने जनसत्ता.कॉम को बताया कि हाईकोर्ट ने आदेश दिया था कि आगे से आयोग अध्यक्ष की नियुक्ति सीधे मुख्यमंत्री के जरिए न होकर एक कमेटी के जरिए होगी, जिसमें विपक्ष के सदस्य भी शामिल होंगे। दुबे का कहना है कि हमारी याचिका दायर करने और कोर्ट के फैसले का मकसद नियुक्ति में पारदर्शिता लाना और बिना किसी राजनीतिक प्रभाव के नियुक्ति करवाना था। लेकिन, असल में हो यह रहा है कि आपसी सहमति के आधार पर सत्ता पक्ष और विपक्ष के लोग अपनी-अपनी पसंद के व्यक्तियों की नियुक्ति करवाते रहे हैं।
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NTA Chairman Prof. (Retd.) Pradeep Kumar Joshi Profile: तरक्की की राह पर आगे ही बढ़ते गए एनटीए चेयरमैन प्रो. प्रदीप जोशी
प्रोफेसर (डॉ.) प्रदीप कुमार जोशी 12.5.2015 को संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) के सदस्य बने थे। 7.8.2020 को वह यूपीएससी के अध्यक्ष बन गए। इससे पहले वह छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग और मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष रहे थे। डॉ. जोशी ने राष्ट्रीय शिक्षा योजना एवं प्रशासन संस्थान (NIEPA), [मानव संसाधन विकास मंत्रालय, भारत सरकार] के निदेशक के रूप में भी काम किया।
प्रोफेसर जोशी ने 1977 में एम.कॉम और 1981 में वाणिज्य (कॉमर्स) में पीएचडी की डिग्री कानपुर विश्वविद्यालय से हासिल की। वह मई 2000 से 12 जून 2006 तक रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय, जबलपुर (एमपी) में प्रबंधन अध्ययन संकाय के प्रोफेसर, प्रमुख और डीन हुआ करते थे। इससे पहले, उन्होंने व्यवसाय प्रशासन विभाग, रोहिलखंड विश्वविद्यालय, बरेली (यूपी) और बरेली कॉलेज, बरेली (यूपी) में रीडर के रूप में कार्य किया।
एनटीए के बारे में
National Testing Agency (NTA) एक स्वायत्त संस्था है। देश की तमाम शिक्षण संस्थाओं व फेलोशिप में दाखिले के लिए जांच परीक्षा आयोजित करने की जिम्मेदारी एनटीए पर ही है। इसे चलाने के लिए एक गवर्निंग बॉडी है। इसमें अध्यक्ष के अलावा महानिदेशक (जो सदस्य सचिव होते हैं) व सदस्य शामिल होते हैं। मौजूदा महानिदेशक (मेंबर सेक्रेटरी) सुबोध कुमार सिंह हैं। बतौर सदस्य आईआईटी, आईआईएम, एनआईटी आदि के डायरेक्टर्स और कुछ विश्वविद्यालयों के कुलपतियों को शामिल किया जाता है।
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