48 साल पुरानी इस भारतीय फिल्म का Cannes में हुआ प्रीमियर, 5 लाख लोग थे इसके प्रोड्यूसर
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हाल ही में श्याम बेनेगल की 1976 की फिल्म 'मंथन' का प्रीमियर हेरिटेज फाउंडेशन द्वारा कान्स फिल्म फेस्टिवल 2024 में किया गया है। अब वर्ल्ड मिल्क डे (1 जून) के मौके पर यह क्लासिक फिल्म देश के 100 सिनेमाघरों में फिर से दिखाई जाएगी।
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लेकिन क्या आप जानते हैं कि इस एक फिल्म के प्रोड्यूसर 5 लाख लोग थे? इस फिल्म में बड़े-बड़े सितारों ने भी काम किया था। जब यह फिल्म रिलीज हुई तो इसे राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार भी मिला।
इस फिल्म का बजट 10 लाख रुपये था। दरअसल, इस फिल्म के लिए गुजरात के पांच लाख किसानों ने 2-2 रुपए दिए थे और फिल्म के प्रोड्यूसर बने थे।
ये फिल्म भारत की पहली फिल्म थी जिसमें किसी भी प्रोडक्शन हाउस का पैसा नहीं लगा था और यह पहली क्राउड-फंडेड भारतीय फिल्म भी थी।
जब आप श्याम बेनेगल की इस फिल्म का पोस्टर देखेंगे तो आपको उसमें एक लाइन दिखेगी, जिसमें लिखा था, "गुजरात के पांच लाख किसान पेश करते हैं- 'मंथन'।"
श्वेत क्रांति पर आधारित इस फिल्म की स्क्रिप्ट श्याम बेनेगल ने उस समय पूरी की थी जब कांग्रेस शासन के दौरान देश में इमरजेंसी लगाई गई थी। फिल्म का प्री-प्रोडक्शन का काम पूरा हो चुका था, लेकिन कोई भी इस फिल्म में पैसा लगाने के लिए तैयार नहीं हो रहा था।
दरअसल, देश में विवादित माहौल होने के कारण इस फिल्म को कोई प्रोड्यूसर नहीं मिल रहे थे। ऐसे में श्याम बेनेगल ने दुग्ध क्रांति के जनक कहे जाने वाले वर्गीज कुरियन से मुलाकात की और अपनी परेशानी उन्हें बताई।
वर्गीज कुरियन ने उन्हें अमूल से जुड़े 5 लाख किसानों की मदद लेने का सुझाव दिया। और फिर क्या था श्याम बेनेगल की यह फिल्म देश की पहली ऐसी फिल्म साबित हुई, जिसमें देश के किसानों का पैसा लगा।
बता दें, फिल्म 'मंथन' में किसानों और पशुपालकों के संघर्ष की कहानी बताई गई है। फिल्म में स्मिता पाटिल, ओम पुरी, गिरीश कर्नाड, नसीरुद्दीन शाह जैसे कलाकारों ने काम किया था। इस फिल्म को न सिर्फ देश में बल्कि विदेश में भी काफी सराहना मिली थी।
(Stills From Film)
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