Sensex, Nifty में तेजी के बीच क्या करें आम निवेशक? प्रॉफिट बुक करें या बनाए रखें निवेश
What to do when Sensex and Nifty are on new highs: शेयर बाजार जब हर रोज नई ऊंचाई नाप रहा हो, तो आम निवेशकों को क्या करना चाहिए? क्या उन्हें इस तेजी का फायदा उठाने के लिए प्रॉफिट बुकिंग करनी चाहिए या अपने इनवेस्टमेंट को और बढ़ने का मौका देने के लिए निवेश बनाए रखना चाहिए? तेजी के माहौल में रिटेल निवेशकों के लिए क्या है सही रणनीति? इस पर बात करने से पहले समझते हैं कि आखिर बाजार में तेजी का मतलब क्या है?
मनोवैज्ञानिक पड़ाव है इंडेक्स की नई ऊंचाई
सेंसेक्स का 80,000 या निफ्टी का 24,000 का स्तर पार करना मनोवैज्ञानिक रूप से एक अहम पड़ाव या मील का पत्थर है, जो आपको अच्छा महसूस कराता है, क्योंकि आपके निवेश में बढ़ोतरी हुई है। इन प्रमुख इंडेक्स पर गौर करते समय यह भी ध्यान में रखें कि स्मॉल कैप इंडेक्स की तेजी तो सेंसेक्स और निफ्टी 50 जैसे लार्ज कैप इंडेक्स से भी कहीं ज्यादा रही है। सेंसेक्स पिछले एक साल में करीब 22 फीसदी बढ़ा है, जबकि निफ्टी 50 में इसी दौरान 25 फीसदी का उछाल आया है। इसकी तुलना में बीएसई स्मॉल कैप इंडेक्स पिछले 1 साल में करीब 64 फीसदी बढ़ा है, तो निफ्टी स्मॉल कैप 100 इंडेक्स ने इसी दौरान 70 फीसदी से ज्यादा की छलांग लगाई है।
कौन कर सकते हैं मुनाफा वसूली?
बाजार के इतनी ऊंचाई पर पहुंचने का मतलब है कि बहुत सारे निवेशकों को अच्छा-खासा मुनाफा हो रहा होगा।
- - इस माहौल में वे निवेशक मुनाफावसूली पर विचार कर सकते हैं, जो बहुत लंबे समय के लिए इनवेस्ट करने की तैयारी के बिना ही अचानक बाजार में आ गए थे और अब अच्छा-खासा मुनाफा कमा लिया है।
- - जो लॉन्ग टर्म इनेस्टर पिछले 5-10 सालों से लगातार निवेश कर रहे हैं और इस दौरान अपने लक्ष्य के हिसाब से अच्छी-खासी रकम जमा कर चुके हैं, वे अपने पोर्टफोलियो का 10 से 25 फीसदी हिस्सा इक्विटी से निकालकर फ़िक्स्ड इनकम एसेट्स में ट्रांसफर कर सकते हैं। इससे न सिर्फ उनका रिस्क कम होगा, बल्कि आने वाले मार्केट करेक्शन का सामना भी बेहतर ढंग से कर पाएंगे।
- - जिन निवेशकों ने होम लोन चुकाने, घर खरीदने के लिए डाउन-पेमेंट की रकम जुटाने या ऐसे ही किसी लक्ष्य को ध्यान में रखकर निवेश किया था और बाजार में तेजी के कारण उनका लक्ष्य वक्त से पहले पूरा हो रहा है, उनके लिए यह पैसे निकालने का अच्छा मौका है।
- - अगर किसी निवेशक के चुने हुआ इक्विटी फंड का प्रदर्शन अच्छा नहीं है, तो वे भी अपने पोर्टफोलियो में बदलाव करने के लिए इस वक्त एग्जिट करने पर विचार कर सकते हैं।
- - अगर बाज़ार में तेजी के कारण आपके पोर्टफोलियो में इक्विटी का रेशियो काफी बढ़ गया है, तो अपने एसेट अलोकेशन को फिर से संतुलित बनाने के लिए थोड़ी मुनाफावसूली कर सकते हैं।
किन निवेशकों को बाजार में बने रहना चाहिए
- - ऐसे सभी निवेशकों को बाजार में बने रहना चाहिए, जो मुनाफावसूली के ऊपर बताए गए कारणों के दायरे में नहीं आते हैं।
- - जो शॉर्ट टर्म इनवेस्टर्स ने एक-दो साल पहले निवेश करना शुरू किया था और अब भी एसआईपी के जरिये नियमित रूप से इनवेस्ट कर रहे हैं, उन्हें अपनी रणनीति पर टिके रहकर SIP को जारी रखना चाहिए।
- - अगर आपका निवेश का लक्ष्य अब तक हासिल नहीं हुआ है और आने वाले कुछ सालों में हासिल होने की उम्मीद है, तो इस वक्त बाजार से निकलने की जगह निवेश को बनाए रखना बेहतर है।
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लक्ष्य पर हमेशा रहे नजर
बाजार में निवेश करते हैं, तो एक बात हमेशा ध्यान में रखें। सेसेंक्स या निफ्टी का नई ऊंचाई पर पहुंचना दिलचस्प या रोमांचक घटना हो सकती है, लेकिन आपको अपने निवेश से जुड़े फैसले सिर्फ इसी को ध्यान में रखकर नहीं लेने चाहिए। आपकी नजर हमेशा अपने निवेश के लक्ष्य और उन्हें हासिल करने की स्ट्रैटजी पर टिकी रहे इसी में फायदा है।